🔵संकलन केन्द्र पर जमा बण्डल खुलवाकर हिन्दी व हिन्दी सामान्य विषय का उत्तरपुस्तिका अलग कराने का मामला
🔴डीआईओएस श्रवण कुमार का एक और कारनामा आया सामने
🔵 युगान्धर टाइम्स व्यूरो
कुशीनगर। सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ के भागीरथ प्रयास व सख्त निर्देश और माध्यमिक शिक्षा परिषद के गाइडलाइन के बावजूद कुशीनगर में संचालित बोर्ड परीक्षा की सुचिता व पारदर्शिता यहा के शिक्षा विभाग के हुक्मरान के मनमानेपन की भेट चढ गयी। बात चाहे नकटहा मिश्र स्थित अशोक विद्यापीठ इंटर कालेज में रिजर्व पेपर से परीक्षा कराने का मामला हो या फिर जनता इंटरमीडिएट कालेज का उत्तर पुस्तिका गायब होने की घटना। विभागीय गलियारों में इस बात की खूब चर्चा है कि बोर्ड परीक्षा ने डीआईओएस के कार्य क्षमता को फ्लोर साबित कर दिया है। डीआईओएस द्वारा बोर्ड परीक्षा के पहले दिन संकलन केन्द्र पर एक ही बण्डल मे जमा दो पेपर के उत्तर पुस्तिका का बण्डल खुलवाने का एक और सनसनीखेज एक मामला सामने आया है। हालाकि डीआईओएस ने बडी ही निर्लज्जता इस बात को सिरे से खारिज करते हुए कहा है कि कुछ अराजक तत्व बदनाम करने का प्रयास कर रहे है जबकि सूत्रो का दावा है कि संकलन केंद्र पर लगे सीसीटीवी कैमरा मे डीआईओएस का करतूत कैद है।
🔴 क्या है नियम
जानकारो की माने तो ऐसी स्थिति मे डीआईओएस को सर्वप्रथम जिलाधिकारी व सचिव बोर्ड गोरखपुर को पूरे मामले से अवगत करायेगे। इसके जिलाधिकारी द्वारा मजिस्ट्रेट के नेतृत्व मे टीम गठित कर संकलन केन्द्र पर जमा किये गये बण्डल को खोलकर उसमे रखे गये कोड संख्या 301 व कोड संख्या - 302 का उत्तर पुस्तिका अलग-अलग बण्डल मे रखकर पुन: संकलन केन्द्र पर जमा किये जाने का नियम है। महत्वपूर्ण बात यह है कि बोर्ड के नियम को ताक पर रखकर जिला विद्यालय निरीक्षक श्रवण कुमार गुप्त न तो जिलाधिकारी को मामले से अवगत कराया और न ही संकलन केन्द्र पर जमा किये गये बण्डल को खुलवाने के लिए डीएम से अनुमति लिया, जो न सिर्फ डीआईओएस के कार्य प्रणाली पर बडा सवाल बना हुआ है बल्कि इनके मनमानेपन का जीता-जागता प्रमाण है।
इस संबंध मे जिला विद्यालय निरीक्षक श्रवण कुमार गुप्त से उनके सरकारी मोबाइल नम्बर पर सम्पर्क कर पूरे मामले से अवगत कराते हुए उनका पक्ष जानने का प्रयास किया गया तो उन्होने बडी ही निर्लज्जता व बेरुख़ी से जबाब देते हुए कहा कि कुछ अराजक तत्व बदनाम करने की कोशिश कर रहे है आपने बता दिया, दिखता हू। अब सवाल यह उठता कि डीआईओएस क्या दिखवायेगे जबकि खुद वो ही इस खेल के खिलाडी है। इसी कडी में संकलन केन्द्र प्रभारी /उदित नारायण इंटरमीडिएट कालेज के प्रधानाचार्य अरविन्द सिंह से बात किया गया तो उन्होने कहा कि बण्डल खुलवाया नही गया है। एक ही बण्डल में दोनो उत्तर पुस्तिका जमा कर लिया गया है। यह पूछे जाने पर कि अलग नही कराया गया तो फिर कापी जांच के दौरान दिक्कत नही होगी तो उन्होने बताया कि 301 कोड संख्या पर ही बण्डल जमा कर लिया गया 302 कोड पर शून्य दिखा दिया जायेगा जहां कापियां जायेगी वहा दोनो उत्तर पुस्तिकाओं की जांच हो जायेगी।
🔵 रिपोर्ट - संजय चाणक्य
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